नई दिल्ली। नए महामहिम रामनाथ कोविंद ने देश के 14वें राष्ट्रपति के तौर पर मंगलवार को शपथ ली। चीफ जस्टिस जेएस खेहर ने उन्हें शपथ दिलाई। इस अवसर पर कोविंद को 21 तोपों की सलामी दी गई। सबसे पहले उन्होंने महात्मा गांधी को उनके समाधिस्थल राजघाट जाकर श्रद्धांजलि दी। उन्होंने राष्ट्रपति भवन में प्रणब मुखर्जी से मुलाकात की। इसके बाद दोनों एक कार में संसद भवन के लिए रवाना हुए।
सभी का हृदय से आभारी हूं…
कोविंद ने शपथ ग्रहण करने के बाद कहा- “मुझे भारत के राष्ट्रपति पद का दायित्व सौंपने के लिए मैं आप सभी का हृदय से आभार व्यक्त करता हूं। मैं पूरी विनम्रता के साथ इस पद को ग्रहण कर रहा हूं। यहां सेंट्रल हॉल में आकर मेरी कई स्मृतियां ताजा हो गई हैं। मैं संसद सदस्य रहा हूं। इसी सेंट्रल हॉल में आपमें से कई लोगों के साथ विचार-विमर्श किया है। कई बार हम सहमत होते थे, कई बार असहमत। इसके बावजूद हमने एकदूसरे के विचारों का सम्मान करना सीखा। यही लोकतंत्र की खूबसूरती है।”
वो यहीं नहीं रुके, इसके बाद उन्होंने कहा कि “मैं मिट्टी के घर में पला-बढ़ा हूं। हमारे देश की भी यही गाथा रही है। संविधान की प्रस्तावना में उल्लेखित न्याय, स्वतंत्रता, समानता और बंधुत्व के मूल तत्वों का पालन किया जाता है। मैं भी यही करूंगा। 125 करोड़ नागरिकों ने जो विश्वास जताया, उस पर खरा उतरने का वचन देता हूं। मैं डॉ. राजेंद्र प्रसाद, डॉ. राधाकृण्ष्णन, डॉ. कलाम और प्रणब मुखर्जी जिन्हें हम प्रणब दा कहते हैं, उनके पदचिह्नों पर चलने जा रहा हूं।”
“गांधीजी ने हमें मार्ग दिखाया। सरदार पटेल ने हमारे देश का एकीकरण किया। बाबा साहब भीमराव अंबेडकर ने हम सभी में मानवीय गरिमा और गणतांत्रिक मूल्यों का संचार किया। वे राजनीतिक स्वतंत्रता से संतुष्ट नहीं थे। वे करोड़ों लोगों की आर्थिक स्वतंत्रता का लक्ष्य चाहते थे। हम 21वीं सदी के दूसरे दशक में हैं। हमें भरोसा है कि ये भारत की सदी होगी। हमें एक ऐसे भारत का निर्माण करना है जो आर्थिक नेतृत्व देने के साथ ही नैतिक आदर्श भी प्रस्तुत करे।”
“विविधता ही हमारा वो आधार है जो हमें विशेष बनाता है। हम बहुत अलग हैं, फिर भी एक हैं और एक रहेंगे। 21वीं सदी का भारत औद्योगिक क्रांति को भी विस्तार देगा। हमें अपनी परंपरा और प्रौद्योगिकी को प्राचीन भारत के ज्ञान और समकालिन विज्ञान के साथ लेकर चलना है। डिजिटल राष्ट्र हमें विकास की नई ऊंचाइयों पर ले जाने का प्रयास करेगा।”
देश का हर नागरिक राष्ट्रनिर्माता
कोविंद ने कहा, “राष्ट्र निर्माण अकेले सरकारों द्वारा नहीं किया जा सकता। सरकार सहायक हो सकती है। वह समाज के उद्यमियों को नई दिशा दिखा सकती है। राष्ट्रीय गौरव ही राष्ट्र निर्माण का आधार है। हमें भारत की मिट्टी और पानी पर गर्व है। हमें भारत की संस्कृति-परंपरा-अध्यात्म पर गर्व है। हमें गर्व है अपने कर्तव्यों के निवर्हन पर। “
“देश का हर नागरिक राष्ट्र निर्माता है। प्रत्येक भारतीय मूल्यों का संरक्षक है। देश की सीमाओं की रक्षा करने वाले सशस्त्र बल राष्ट्र निर्माता है। पुलिस और अर्द्धसैनिक बल जो आतंकवाद से लड़ रहे हैं, वे राष्ट्र निर्माता है। जो किसान तपती धूप में अन्न उगा रहा है, वो राष्ट्र निर्माता है। खेत में न जाने कितनी महिलाएं भी काम करती हैं। जो भारत को मंगल तक ले जा रहा है, या किसी वैक्सीन का आविष्कार कर रहा है, वो राष्ट्र निर्माता है। जिस नौजवान ने अपना स्टार्टअप शुरू किया है और खुद रोजगारदाता बन गया है, वो राष्ट्र निर्माता है।”
ताज़ा समाचार के मुताबिक, देश के 14वें राष्ट्रपति यानी रामनाथ कोविंद ने पद की शपथ ग्रहण कर ली है। शपथ लेने के बाद उन्होंने संबोधन किया। इस संबोधन में उन्होंने भारत की मिट्टी और संस्कृति की जमकर तारीफ की। इसके साथ साथ उन्होंने सदन में मौजूद सभी को संबोधित करते हुए कहा की यहां आकार पपुरानी यादें ताज़ा हो गईं। उन्होंने बताया की यहां आकार हमसब ने एक दूसरे के विचारधारा का सम्मान करना सीखा। इसके साथ साथ उन्होंने कहा कि हम जरुर अलग अलग है लेकिन हमारा देश एकजुट है।
आज देश के 14वें राष्ट्रपति के रूप में रामनाथ कोविंद शपथ लेंगे। प्रधानमंत्री, प्रणब मुखर्जी और चीफ जस्टिस ऑफ इंडिया की मौजूदगी में देश के नए राष्ट्रपति अपना कार्यभार संभालेंगे। शपथ ग्रहण समारोह में कई बड़े दिग्गज शामिल होंगे। तमाम राज्यों के मुख्यमंत्री महामहिम की शपथ के साक्षी बनेंगे। भारत के नए राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद के शपथ ग्रहण कार्यक्रम को भव्य बनाने की पूरी तैयारी हो चुकी है। राष्ट्रपति भवन से लेकर राजपथ और संसद भवन में खास तैयारियां की गई हैं। कार्यक्रम सुबह 10 बजे से शुरू होगा और करीब दोपहर सवा दो बजे तक चलेगा।
आडवाणी-जोशी को झुककर किया नमस्कार
- – कोविंद ने शपथ लेने के बाद पहली कतार में बैठीं सुषमा स्वराज, मनमोहन सिंह, प्रतिभा पाटिल, एचडी देवेगौड़ा, नरेंद्र मोदी, अमित शाह, लालकृष्ण आडवाणी, मुरली मनोहर जोशी, वेंकैया नायडू और सोनिया गांधी से नमस्कार किया।
- – कोविंद ने आडवाणी और जोशी को झुककर नमस्कार किया।
43 साल में सबसे कम वोट मिले कोविंद को
- – रामनाथ कोविंद को 65.65% वोट मिले थे। यह 44 साल में किसी राष्ट्रपति को मिला सबसे कम वोट शेयर है। इससे पहले 1974 में कांग्रेस के फखरुद्दीन अली अहमद को 56.23% वोट मिले थे।
33 साल पुरानी कांग्रेस जैसी मजबूत हुई बीजेपी
- – 1984 में 404 सीटें जीतकर राजीव गांधी ने कांग्रेस की सरकार बनाई थी। तब 17 राज्यों में कांग्रेसी सरकार थी। राष्ट्रपति ज्ञानी जैल सिंह और उपराष्ट्रपति वेंकटरमण भी कांग्रेसी थे। 33 साल बाद भाजपा ऐसी स्थिति में है। राष्ट्रपति बीजेपी के हैं। उपराष्ट्रपति भी बीजेपी के ही होंगे। लोकसभा में बहुमत भी है। और 17 राज्यों में सरकार भी।
कौन हैं रामनाथ कोविंद?
- – कोविंद (71) एक अक्टूबर 1945 को कानपुर की डेरापुर तहसील के परौंख गांव में जन्मे। 1978 में SC में वकील के तौर पर अप्वाइंट हुए। 1980 से 1993 के बीच SC में केंद्र की स्टैंडिंग काउंसिल में भी रहे।
- – कोविंद 1977 में तब पीएम रहे मोरारजी देसाई के पर्सनल सेक्रेटरी बने।
- – बीजेपी का दलित चेहरा हैं। पार्टी ने बिहार इलेक्शन में गवर्नर के तौर पर उनके दलित चेहरे को प्रोजेक्ट किया था। कोविंद दलित बीजेपी मोर्चा के अध्यक्ष रहे। ऑल इंडिया कोली समाज के प्रेसिडेंट हैं।
- – कोविंद 1994 से 2000 तक और उसके बाद 2000 से 2006 तक राज्यसभा सदस्य रहे। अगस्त 2015 में बिहार के गवर्नर अप्वाइंट हुए।
- – वे 1990 में घाटमपुर से एमपी का इलेक्शन लड़े, लेकिन हार गए। इसके बाद वे 2007 में यूपी की भोगनीपुर सीट से चुनाव लड़े, पर ये चुनाव भी वे हार गए। उनके परिवार में पत्नी सविता, एक बेटा और एक बेटी है।
- – कोविंद बीजेपी के नेशनल स्पोक्सपर्सन रह चुके हैं, लेकिन वे लाइमलाइट से इतने दूर रहते हैं कि प्रवक्ता रहने के दौरान कभी भी टीवी पर नहीं आए।
कुछ इस तरह है कोविंद का डेली रूटीन-
- रामशंकर ने बताया, रामनाथ कोविंद सुबह पांच बजे उठ जाते हैं। फ्रेश होकर सुबह छह बजे टहलने के लिए निकल जाते हैं।
- करीब एक घंटा टहलने के बाद करीब आधा घंटा योगा करते हैं।
- इसके बाद चार से पांच अखबार पढ़ते हैं।
- सुबह 8.30 से 9 के बीच नाश्ता करते हैं।
- नाश्ते में इन्हें दूध-दही पसंद है। हालांकि, ज्यादा हेवी नाश्ता नहीं करते।
- पराठा, कोई फल, इडली या सूखे बड़े के साथ दूध और दही जरूर लेते हैं।
- नाश्ते के बाद थोड़ी देर आराम भी करते हैं।
- सुबह 10 बजे ऑफिस पहुंच जाते हैं।
- दोपहर दो बजे तक काम करने के बाद खाना खाने ऑफिस से घर आते हैं।
- वे खाने में नॉनवेज या अंडा नहीं खाते।
- दोपहर खाने में रोटी, दाल, चावल के साथ भिन्डी और पनीर की सब्जी लेना पसंद करते हैं।
- खाने के बाद थोड़ी देर आराम करते हैं।
- शाम चार बजे से सात बजे तक अपने ऑफिस में रहते हैं।
- सात बजे के बाद टहलते हैं। इसके बाद अगर कोई गेस्ट घर पर रुका है, तो उसके साथ समय बिताते हैं।
- थोड़ी देर टीवी पर न्यूज चैनल देखते हैं। इन्हें सीरियल या फिल्म देखना पसंद नहीं।
- रात 9.30 बजे डिनर करते हैं। डिनर में रोजाना करीब दो रोटी और दाल खाते हैं।
- कभी-कभी डिनर के बाद दूध भी पीते हैं।
- खाना खाने के बाद 10 मिनट टहलते हैं। फिर अपने कमरे में चले जाते हैं। जहां किताबें पढ़ते हैं।
- इन्हें साहित्य पढ़ना बहुत पसंद है। रात करीब 11 बजे सो जाते हैं।